कैसा दस्तूर है यह,
मांगते हैं, खुदा से ज़िंदगी,
सुकून और महफूज़ होने की दुआ
मिलती भी है ज़िंदगी,
पर हर कोई कहां, जी पाता है यह ज़िंदगी।
एक मौत है, शायद, ज़िन्दगी से कहीं ज़्यादा अज़ीज।
जीते जी, कितनी आसानी से ज़िन्दगी का साथ छोड़ देते हैं,
और मौत से देखो कैसा गहरा नाता है।
एक बार जो दामन थामा उसका,
फ़िर कोई कहां लौट पाया है।।
~ Poonam Sharma
Gurugram, India
Fantabulous Poonam Sharma…..congratulations dear keep going…
Bahut khoob !